Andhra Pradesh New Capital: आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) की नई राजधानी विशाखापत्तनम (Visakhapatnam) होगी। मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी (Jagan Mohan Reddy) ने इसकी घोषणा करते हुए कहा कि वे अपना कार्यकाल वहां स्थानांतरित करेंगे। साल 2015 में अमरावती को आंध्र प्रदेश की राजधानी घोषित किया गया था। इसके बाद, 2020 में राज्य में तीन राजधानी शहर बनाने की योजना बनाई गई। इनमें करनूल, अमरावती और विशाखापत्तनम शामिल हैं।
मुख्यमंत्री ने की घोषणा
3 और 4 मार्च को होने वाले वैश्विक शिखर सम्मेलन की घोषणा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, “यहां मैं आपको विशाखापत्तनम में आमंत्रित कर रहा हूं, जो आने वाले दिनों में हमारी राजधानी बनने जा रही है।” उन्होंने आगे कहा कि आने वाले महीनों में मैं खुद विशाखापत्तनम शिफ्ट हो जाऊंगा। साल 2014 में तेलंगाना के अलग होने के बाद कुछ समय तक हैदराबाद दोनों राज्यों की राजधानी थी।
आंध्र सरकार ने 2015 में एन चंद्रबाबू नायडू के नेतृत्व में काम करते हुए घोषणा की थी कि कृष्णा नदी के तट पर स्थित अमरावती नई राजधानी होगी। इसके बाद 2020 में राज्य ने तीन राजधानी शहर बनाने की योजना बनाई। उस कानून को बाद में वापस ले लिया गया और अमरावती औपचारिक रूप से राजधानी बनी रही।
भूमि घोटाले का केंद्र रही है अमरावती
अमरावती एक कथित भूमि घोटाले का केंद्र भी रहा है। इस मामले में सीएम रेड्डी की पार्टी वाईएसआरसीपी ने पूर्व मुख्यमंत्री नायडू के खिलाफ जांच की मांग की है। वाईएसआरसीपी का आरोप है कि कुछ लोगों ने अमरावती में अनुचित लाभ उठाने के लिए जमीन खरीदी थी। इन्हें नई राजधानी के स्थान के बारे में पहले से बताया गया था। राज्य सरकार ने केंद्र से कहा कि 2014 में ऐसे लोगों द्वारा 4,000 एकड़ से अधिक जमीन खरीदी गई थी।
वहीं, एन चंद्रबाबू नायडू ने इस तरह के किसी भी गलत काम से इनकार करते हुए सवाल किया कि नई राजधानी बनाने के लिए मूल रूप से किसानों से ली गई जमीन को वाईएसआरसीपी सरकार द्वारा क्यों बेचा जा रहा है। कुछ महीने पहले विपक्ष के नेता ने विशेष रूप से एपी कैपिटल रीजन डेवलपमेंट अथॉरिटी के सरकारी कर्मचारियों के लिए बनाए गए आवासीय टावरों को निजी संस्थाओं को पट्टे पर देने के फैसले में खामियां पाई थीं।