Thursday, September 28, 2023

‘अगर मोनू को गिरफ्तार करने मानेसर आई राजस्थान पुलिस तो पैरों पर वापस नहीं जाएगी’, महापंचायत में पुलिस को चेतावनी

हरियाणा में महापंचायत के नेताओं ने चेतावनी दी है कि राजस्थान की पुलिस अगर मोनू को गिरफ्तार करने यहां आती है तो वह अपने पैरों पर वापस नहीं जा सकेगी। राजस्थान के नासिर और जुनैद की कथित तौर पर हत्या में आरोपी मोनू मानेसर के समर्थन में हिंदू महापंचायत ने जोरदार आवाज उठाई है। उन्होंने मामले को सीबीआई से जांच कराने की मांग करते हुए राजस्थान पुलिस के रवैये को गौरक्षकों के खिलाफ साजिश करार दिया। मोनू बजरंग दल का सदस्य और गुणगांव में हरियाणा सरकार के गौरक्षक टास्क फोर्स का प्रमुख चेहरा है।

छापे की सूचना पर हाईवे को ब्लाक कर दिया

महापंचायत ने कहा है कि हम ऐसा हर्गिज नहीं होने देंगे। महापंचायत के नेताओं को जब यह सूचना मिली कि राजस्थान पुलिस की एक टीम मानेसर में मोनू के आवास पर छापा मारने पहुंची है तो कई पंचायत सदस्यों ने दिल्ली-गुड़गांव राष्ट्रीय राजमार्ग के दोनों कैरिजवे को कुछ मिनटों के लिए जाम कर दिया। इसके बाद स्थानीय पुलिस और पंचायत सदस्यों ने हस्तक्षेप करके किसी तरह यातायात को खुलवाया।

पशु तस्करों और उनके माफिया के गठजोड़ को मोनू ने तोड़ा

महापंचायत के आयोजकों में से एक कुलभूषण भारद्वाज ने कहा, “मोनू के खिलाफ झूठी प्राथमिकी दर्ज की गई है, क्योंकि उसने और उसकी टीम ने पशु तस्करों और उनके माफिया के गठजोड़ को तोड़ दिया है। हमारी मांग है कि सीबीआई जांच कराई जाए। बिना सबूत के केस दर्ज कर लिया गया है। घटना के समय मोनू एक निजी होटल में था और उसने उसी का सीसीटीवी फुटेज साझा किया है। गहन जांच होनी चाहिए। इसके बजाय राजस्थान पुलिस अब अवैध छापामारी कर गौरक्षकों को परेशान कर रही है। उनकी पुलिस ने नूंह में श्रीकांत की पत्नी को पीटा… पंचायत में यह गुस्सा उनके आचरण के कारण है।”

पटौदी से गौ रक्षा दल की सदस्य नीलम ने कहा, “अगर राजस्थान पुलिस मोनू को गिरफ्तार करने के लिए मानेसर में पैर रखती है, तो वे उसी पैर पर नहीं लौटेंगे। अगर मोनू को गिरफ्तार किया गया तो हम हाईवे जाम कर देंगे। गिरफ्तारियां देंगे, जेल छोटी पड़ जाएंगी।”

मानेसर के ओम प्रकाश ने मांग की कि गौरक्षकों के शस्त्र लाइसेंस रद्द न किए जाएं और गौरक्षकों को सुरक्षा प्रदान की जाए। उन्होंने कहा, “अपनी खुद की अक्षमता को छिपाने के लिए, सरकार और पुलिस ने सबसे पहले इन शस्त्र लाइसेंसों को गौ रक्षकों को प्रदान किया। आज गौरक्षक हिन्दू धर्म और गौ माता की रक्षा कर रहे हैं। इस समय जब पशु तस्करों का यह गठजोड़ हम पर निशाना साध रहा है, सरकार गौरक्षकों के शस्त्र लाइसेंस रद्द करने की बात कर रही है। यह बहुत गलत है।”

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